स्वास्थ्य

गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को सही पोषण के प्रति किया जा रहा जागरूक

जीविका दीदी घर-घर जाकर गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को कर रही चिन्हित

चिन्हित महिलाओं को घर में पोषण बगीचा लगाने के लिए किया जा रहा प्रेरित

भागलपुर, 9 मार्च

गर्भवती एवं धात्री महिलाएं सही पोषण से न सिर्फ स्वस्थ रहती हैं, बल्कि उनके बच्चे भी स्वस्थ रहते हैं. यही वजह है कि खरीक प्रखंड की जीविका दीदी घर- घर जाकर गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को चिन्हित कर उन्हें सही पोषण के लिए जागरूक कर रही हैं. जीविका दीदी उन्हें दूध, दही, मांस, मछली, हरी सब्जियां एवं विटामिन से भरपूर खुराक लेने की सलाह दे रही हैं. साथ ही घर में पोषण बगीचा बनाने के लिए भी जागरूक कर रही हैं.

700 घरों को पोषण बगीचा को लेकर किया गया चयनित: जीविका के खरीक प्रखंड के योजना प्रबंधक बलदेव कुमार ने बताया अभी तक खरीक प्रखंड में 700 घरों को पोषण बगीचा के लिए चिन्हित किया गया है. इन घरों में गर्भवती एवं धात्री महिलाएं हैं. जिन्हें सही पोषण की आवश्यकता है. इससे उनके बच्चे भी स्वस्थ रहेंगे. यह अभियान पिछले दो महीने से भी अधिक समय से चल रहा है.

घर के बाहर चिपकाई जा रही खुराक की सूची: बलदेव कुमार ने बताया गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को चिन्हित करने के बाद उनके घर के बाहर एक सूची चिपका दी जा रही है, जिसमें 7 दिनों की खुराक की सूची रहती है. सूची को देखकर महिलाएं अपना आहार लेती हैं. सूची के अनुसार आहार लेने से गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को संपूर्ण पोषण मिल पाता है. जिससे वह स्वस्थ रहती हैं और उनके बच्चे पर भी इसका प्रतिकूल प्रभाव नहीं पड़ता है.

पोषण के प्रति जागरूक करने को लेकर गांवों में लगाया जाता है बगीचा: बलदेव कुमार ने बताया गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को सही पोषण के प्रति जागरूक करने के लिए गांव में एक जगह पोषण बगीचा लगाया जाता है. वहां पर घर की बुजुर्ग महिला को उनके घर की गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को क्या खुराक देना है, इसके बारे में बताया जाता है. किस खुराक से क्या फायदा होता है, इसकी जानकारी महिलाओं को दी जाती है. बगीचा में जानकारी लेने के बाद महिलाएं अन्य लोगों को भी इस बारे में बताती हैं.

मांसाहार नहीं करने वाली महिलाएं हरी सब्जियों पर दे जोर: मांस- मछली नहीं खाने वाली गर्भवती एवं धात्री महिलाओं को हरी सब्जियां और दूध दही पर जोर देने के लिए कहा जाता है. बलदेव कुमार ने कहा वैसी गर्भवती एवं धात्री महिलाएं जो मांसाहार नहीं लेती हैं, वैसे लोगों को दूध, दही और हरी सब्जियों का भरपूर सेवन करने के लिए कहा जाता है. ऐसी महिलाओं को विशेष तौर पर घर में पोषण बगीचा लगाने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है

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