Uncategorized

हरित क्रांति के हीरो बिरजू जैसे पर्यावरण योद्धा विश्व के लिए है प्रेरणा की मिसाल -डॉ.नयन प्रकाश गाँधी

बिरजू द्वारा लगाए गए 2714 पौधे बने वृक्ष और प्रस्तुत किया बेमिसाल हरित क्रांति का उदाहरण


बिरजू जैसे छिपे पर्यावरण प्रेमी असंख्य सोशल संघठनो के लिए प्रेरणा स्रोत -डॉ नयन प्रकाश गाँधी

जयपुर के राजस्थान विश्वविद्यालय कैंपस में पांच हजार की तनख्वाह लेने वाले कर्मचारी बिरजू जी द्वारा लगाए गए 2714 पौधे बने वृक्ष और प्रस्तुत किया बेमिसाल हरित क्रांति का उदाहरण।

जयपुर-


राजस्थान विश्वविद्यालय में एक छोटी सी पांच हजार की मासिक तनख्वाह पाने वाले, दीनहीन अवस्था में रहने वाले एक संविदा कर्मी बिरजू जी ने अपनी स्वेच्छा एवं कड़ी मेहनत से छोटे-छोटे लगभग 2714 पौधों को अपने बच्चों की तरह साज सवार कर वृक्ष बनाने का जो अद्भुत कार्य किया है, वह पौधरोपण के नाम पर बरसात के मौसम में एक दो पौधों को हाथ में लेकर अखबारों में सुर्खियां बटोरने वाले एनजीओ व ऐसे ही अन्य लोगों के लिए एक अद्भुत मिसाल है। देखा जाये तो इस बिरजू को ना अपनी फोटो छपवाने का शौक है न हीं किसी की प्रशंसा या पुरस्कार की अपेक्षा है। सोशल एक्टिविस्ट पर्यावरण योद्धा परिवार के सदस्य नयन प्रकाश गाँधी ने बताया की सोशल मिडिया पेज वॉइस ऑफ नेचर द्वारा प्रदत रिपोर्ट में जब यह पढ़ा तो लगा की मुझे इस अच्छी प्रेरणास्पद स्टोरी को मीडिया के माध्यम से प्रसारित करना चाहिए तो यह जन हितार्थ एक राष्टव्यापी अभियान बने .आज बिरजू जैसे कई सामाजिक कार्यकर्ताओ की असल में आने वाली क्लाइमेट चेंज की भयंकर आपदा हेतु पर्यावरण हित में ऐसे लोग आगे आने जरूरी है .जानकारी में आया की राजस्थान विश्वविद्यालय द्वारा हरियाली और पौधे लगाने का प्रशिक्षण यहां के कुछ कर्मचारियों को दिलवाया गया था, बिरजू भी यह प्रशिक्षण लेने वाला एक संविदा कर्मी था। इस हरित क्रांति के छिपे हुए समर्पित कर्मठ बिरजू ने सर्वप्रथम विश्वविद्यालय स्पोर्ट्स बोर्ड के नजदीक सुनसान पड़े 50 बीघा से अधिक क्षेत्र के दो मैदानों को अपने कुछ साथियों के साथ दिन रात कड़ी मेहनत कर साफ किया, वह इन मैदानों व अन्य परिसर के क्षेत्रों में इन पौधों को लगाकर, इन्हें नियमित रूप से पानी, खाद व कीटनाशक दवाइयों का समय पर छिड़काव कर अपने बच्चों की तरह पालना शुरू किया, आज इन 5 हजार पौधों में से 2714 पौधे, वृक्षों के रूप में विकसित हो गए हैं। इनमें तरह तरह के फल भी आने लगे हैं, कितने मेट्रिक टन ऑक्सीजन बिरजू के इस कार्य से विश्वविद्यालय को मिल रही है इसका अंदाज लगाना मुश्किल है। मेरी इच्छा है क्षेत्रीय राज्य स्तर और राष्ट्रिय स्तर पर ऐसे पर्यावरण सेवक को सम्मान से नवाजा जाना चाहिए और उनके कार्यो पर विभिन्न मिडिया को कवर वीडियो स्टोरी बनाना चाहिए . हरित क्रांति के हीरो बिरजू जी को ह्रदय से अभिनन्दन

Show More

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button